रविवार, 8 सितंबर 2013

मंगल आगमन गजानन को



मंगल आगमन गजानन को
अब से प्रभु घर में विराजत है।
मणि से नैना और सूंड सरल,
मस्तक पर मुकुट सजावत है।

पाशांकुश, मोदक कर धरि के
फिर वरद हस्त से रिझावत है
गणपति सबके हिय भाये अति
दूब, जवा पुष्प से सजावत है।

आँखन से भक्त को जतन करे
फेरि सूंड के पीर हरावत है।
कानन से करे ऐसो वात
सब विघन को दूर उडावत है।

भगतन के हित व्है दयावान
टूटे दन्त से बैरी गिरावत है.
हमरे अपराध रहे कोटिन,
सब पेट में डारि भुलावत है.

सारि माया मोह के बटै डोरि
कोई बिघनराज जब ध्यावत है.
शरण गये त्यागि कबहु न प्रभु
गणराज सभी को अपनावत है ।





18 टिप्‍पणियां:

धीरेन्द्र सिंह भदौरिया ने कहा…

बहुत सुंदर अभिव्यक्ति,,
गणेश चतुर्थी की हार्दिक शुभकामनाए !

RECENT POST : समझ में आया बापू .

संगीता स्वरुप ( गीत ) ने कहा…

बहुत सुंदर ... गणेश चतुर्थी की शुभकामनायें

संगीता स्वरुप ( गीत ) ने कहा…
इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.
अरुन अनन्त ने कहा…

नमस्कार आपकी यह रचना आज मंगलवार (09-09-2013) को ब्लॉग प्रसारण पर लिंक की गई है कृपया पधारें.

प्रवीण पाण्डेय ने कहा…

जय श्री गणेश,
विघ्न विनाशक, प्राणेश..

Ranjana verma ने कहा…

बहुत सुंदर गणेश चतुर्दशी की शुभकामनायें.....

निवेदिता श्रीवास्तव ने कहा…

बहुत सुंदर गणपति - वन्दन .......

ताऊ रामपुरिया ने कहा…

बहुत ही सुंदर गणपति वंदना, शुभकामनाएं.

रामराम.

डॉ. मोनिका शर्मा ने कहा…

बहुत सुंदर स्तुति, जय देव....जय देव ...

ओंकारनाथ मिश्र ने कहा…

गणपति महाराज की कृपा दृष्टि सब पर बनी रहे. बहुत बढ़िया लिखा है आपने.

ओंकारनाथ मिश्र ने कहा…

गणपति महाराज की कृपा दृष्टि सब पर बनी रहे. बहुत बढ़िया लिखा है आपने.

Satish Saxena ने कहा…

मधुर और प्रभावशाली वन्दना !

Suman ने कहा…

ताई, बहुत सुन्दर गणेश वंदना है !

दिगम्बर नासवा ने कहा…

गणपति की सुन्दर आरती ... गणपति का रूप सामने आ जाता है ... जय हो गणपति बप्पा की ...

सुशील कुमार जोशी ने कहा…

सुंदर गणपति वंदना !

mridula pradhan ने कहा…

bahot achchi lagi......

ANULATA RAJ NAIR ने कहा…

बहुत सुन्दर गणपति वंदना..
प्रभु कृपा बनी रहे...
सादर
अनु

संजय भास्‍कर ने कहा…

बहुत ही सुंदर गणपति वंदना, शुभकामनाएं.
देरी से आ सका