क्षणिकाएं
उगता सा कुछ दिल के अंदर
ये मेरी चाह है
या तुम्हारी चाहत ।
आंखों में नींद है ना चैन
किरचें चुभती हैं
आंसुओं की ।
धूप के छोटे छोटे टुकडे
बिस्तर पर फैले,
यादों के साये ।
चाय के साथ कमरे में आती तुम,
चेहरे पे धूप छांव
आती जाती ।
कुछ ना कहो, छलक जायेंगी
यूं ही तैरती सी लगती हैं
ये पनीली आंखें ।
.................................................................
देह झुलसाती कडकती धूप
याद आता है
पापा का गुस्सा ।
बरसता मेह, भीगती धरती
पानी के परनाले
मां की आंखें ।
पुराने कंबल के भीतर लगी
पुरानी चादर, गर्माहट
माँ के आंचल सी ।
गर्म मौसम में ठंडी हवा
खस में भीगी
दीदी का प्यार
आईस कैंडी सा सुकून देता
ठंडक पहुंचाता
भैया का दुलार
संध्या रंग गालों पर बिखराती
मन को गुदगुदाती
पिया मनुहार
उगता सा कुछ दिल के अंदर
ये मेरी चाह है
या तुम्हारी चाहत ।
आंखों में नींद है ना चैन
किरचें चुभती हैं
आंसुओं की ।
धूप के छोटे छोटे टुकडे
बिस्तर पर फैले,
यादों के साये ।
चाय के साथ कमरे में आती तुम,
चेहरे पे धूप छांव
आती जाती ।
कुछ ना कहो, छलक जायेंगी
यूं ही तैरती सी लगती हैं
ये पनीली आंखें ।
.................................................................
देह झुलसाती कडकती धूप
याद आता है
पापा का गुस्सा ।
बरसता मेह, भीगती धरती
पानी के परनाले
मां की आंखें ।
पुराने कंबल के भीतर लगी
पुरानी चादर, गर्माहट
माँ के आंचल सी ।
गर्म मौसम में ठंडी हवा
खस में भीगी
दीदी का प्यार
आईस कैंडी सा सुकून देता
ठंडक पहुंचाता
भैया का दुलार
संध्या रंग गालों पर बिखराती
मन को गुदगुदाती
पिया मनुहार
17 टिप्पणियां:
बहुत प्रभावशाली सुंदर क्षणिकाए !!!आशा जी..
बहुत दिनों से आप मेरी पोस्ट पर नही आई आइये स्वागत है,,,
नववर्ष और नवरात्रि की हार्दिक शुभकामनाए,,,,
recent post : भूल जाते है लोग,
बहुत ही प्यारी रचनायें
बहुत ही बेहतरीन प्रभावी क्षणिकाएं,आभार.
हर क्षणिका जैसे खुद जी हुई ..... बेहतरीन ।
संध्या रंग गालों पर बिखराती
मन को गुदगुदाती
पिया मनुहार
khas sundar lagi vaise sabhi sundar hai !
नव संवत्सर की हार्दिक बधाई और शुभकामनाएँ!!
नये वर्ष के शुभावसर पर अच्छी क्षणिकाओं से नवाजा.
भावघनेरी क्षणिकाएं!
बहुत उम्दा ..... भावपूर्ण क्षणिकाएं
सुंदर क्षणिकाए
नववर्ष और नवरात्रि की हार्दिक शुभकामनाए आशा जी
प्यारी प्यारी...बहुत ही प्यारी क्षणिकाएं...
सादर
अनु
बहुत सुंदर क्षणिकाए !!
latest post वासन्ती दुर्गा पूजा
LATEST POSTसपना और तुम
बहुत सुन्दर हर क्षणिका ....बेहतरीन
पता नहीं था,प्यार आइसकेंडी भी हो सकता है.
प्यार ही प्यार नजर आया.
दिल में सीधी उतरती हैं सभी रचनाएं ...
दुलार देती ...
आपके ब्लॉग को कई दिनों से तलाश रहा था.आपकी टिप्पणी में उपलब्ध लिंक ग़लत जगह ले जाती है. गूगल सर्च से बात बनी.
क्षणिकाएं बहुत सुंदर हैं. दूसरी तो पूरे जीवन की कहानी सी लगी. ना जाने क्यों पापा लोग अकसर अपने गुस्से के लिए ही जाने जाते हैं.
आपके ब्लॉग को कई दिनों से तलाश रहा था.आपकी टिप्पणी में उपलब्ध लिंक ग़लत जगह ले जाती है. गूगल सर्च से बात बनी.
क्षणिकाएं बहुत सुंदर हैं. दूसरी तो पूरे जीवन की कहानी सी लगी. ना जाने क्यों पापा लोग अकसर अपने गुस्से के लिए ही जाने जाते हैं.
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